वक्त के साथ



वक्त के साथ-साथ
बहुत कुछ बदल जाता है.
लोग भी,रास्ते भी ,अहसास भी,
और कभी – कभी, हम खुद भी..!!!

ये रास्ते ले ही जाएंगे....
मंजिल तक, तू हौसला रख,
कभी सुना है कि अंधेरे ने
सुबह ना होने दी हो..!!!
- अपका मित्र स्वप्नील कनकुटे



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